क्रिकेट के किसी भी मुकाबले को जीतने के लिए बल्लेबाजों के साथ-साथ गेंदबाजों का भी अहम योगदान रहता है। अगर बल्लेबाज पहले बल्लेबाजी करते हुए एकदिवसीय क्रिकेट के निर्धारित 50 ओवर में 300 से ज्यादा रन बना देते हैं, फिर भी गेंदबाजों को बहुत संयमित होकर गेंदबाजी करना पड़ता है। क्योंकि गेंदबाजी करने वाली टीम के पास अगर अच्छे गेंदबाज नहीं रहे तो 100 रनों का टारगेट भी रन चेंज करने वाली टीम के लिए कोई बड़ी बात नहीं रह जाती। लेकिन अगर विपक्षी टीम के एक या दो गेंदबाज लगातार विकेट चटकाते हैं, तो उस मुकाबले को टीम के लिए जीतना काफी आसान हो जाता है। कई बार तो टीम गेंदबाजों के बदौलत वनडे, एकदिवसीय का मुकाबला आसानी से जीत जाती है।
जैसा कि हम आपको बताना चाहते हैं, भारतीय टीम गेंदबाजों के ही अच्छे प्रदर्शन के चलते साल 1983 और साल 2011 का वनडे एकदिवसीय विश्व कप जीत चुकी है। हालांकि भारतीय टीम काफी लंबे समय से अपने बेहतरीन बल्लेबाजों के लिए जानी जाती है, लेकिन मौजूदा समय में भारतीय टीम के गेंदबाज बल्लेबाजों से काफी बेहतर नजर आ रहे हैं। शायद इसी वजह से भारतीय टीम मौजूदा समय की सबसे मजबूत टीम मानी जा रही है। आज इस न्यूज़ आर्टिकल के माध्यम से हम आपको ऐसे पांच भारतीय गेंदबाजों के नाम बताएंगे, जो वनडे क्रिकेट के एक मुकाबले में सबसे ज्यादा विकेट चटकाकर कीर्तिमान अपने नाम रखे हैं।
मुरली कार्तिक (6 विकेट)- भारतीय टीम के पूर्व बाएं हाथ के बेहतरीन स्पिन गेंदबाजों में से एक मुरली कार्तिक साल 2007 में ऑस्ट्रेलियाई टीम के खिलाफ हुए 1 वनडे मुकाबले के दौरान मात्र 27 रन देते हुए 6 विकेट चटकाए थे। मुरली कार्तिक के बेहतरीन प्रदर्शन के चलते, ऑस्ट्रेलिया की टीम इस मुकाबले में 193 रनों पर ऑल आउट हो गई थी। मुरली कार्तिक का चयन इस सीरीज के दौरान नहीं किया गया था। लेकिन महेंद्र सिंह धोनी ने उन्हें फोन कर बुलाया और डायरेक्ट प्लेइंग इलेवन में जगह दिया। मुरली कार्तिक महेंद्र सिंह धोनी द्वारा प्लेइंग 11 में किए गए चयन का पूरा फायदा उठाएं।
कुलदीप यादव (छह विकेट)- भारतीय टीम के एकमात्र चाइनामैन स्पिन गेंदबाज कुलदीप यादव इंग्लैंड की टीम के खिलाफ साल 2018 में मात्र 25 रन देते हुए 6 महत्वपूर्ण विकेट चटकाए थे। कुलदीप यादव इंग्लैंड की टीम के सभी बड़े दिग्गज खिलाड़ियों को आउट किए थे। इंग्लैंड की टीम इस मुकाबले में पहले बल्लेबाजी करते हुए निर्धारित 50 ओवर में 268 रन बनाई थी। लक्ष्य का पीछा करने उतरी भारतीय टीम इस मुकाबले को 8 विकेट खोकर जीत गई।
आशीष नेहरा (6 विकेट)- भारतीय टीम के पूर्व बाएं हाथ के सबसे बेहतरीन तेज गेंदबाज आशीष नेहरा साल 2003 के विश्व कप में इंग्लैंड की टीम के साथ हुए एक मुकाबले के दौरान मात्र 23 रन खर्च करते हुए 6 विकेट चटकाए थे। इस मुकाबले में पहले बल्लेबाजी करते हुए भारतीय टीम 250 रन बनाई थी। लेकिन आशीष नेहरा की बेहतरीन स्विंग गेंदबाजी की बदौलत भारतीय टीम इस मुकाबले को 82 रनों के बड़े मार्जिन से जीती थी।
अनिल कुंबले (6 विकेट)- भारतीय क्रिकेट इतिहास के सबसे बेहतरीन स्पिन गेंदबाज और पूर्व कप्तान अनिल कुंबले साल 1993 में वेस्टइंडीज की टीम के खिलाफ मात्र 12 रन देते हुए छह महत्वपूर्ण विकेट चटकाए थे। विश्व कप के फाइनल मुकाबले में पहले बल्लेबाजी करते हुए भारतीय टीम 225 रन बनाई थी। लक्ष्य का पीछा करने उतरी वेस्टइंडीज की टीम इस मुकाबले में मात्र 123 रन पर ऑल आउट हो गई और भारतीय टीम इस मुकाबले को बड़े मार्जिन से जीतकर फाइनल मुकाबला अपने नाम की।
स्टुअर्ट बिन्नी (6 विकेट)- भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व ऑलराउंडर खिलाड़ी स्टुअर्ट बिन्नी साल 2014 में बांग्लादेश की टीम के खिलाफ हुए एक वनडे मुकाबले में अपने क्रिकेट कैरियर का सबसे सर्वश्रेष्ठ गेंदबाजी करते हुए मात्र 4 रन देकर छह विकेट चटकाए थे। इस मुकाबले में स्टुअर्ट बिन्नी मात्र 28 गेंद डालते ही, 6 विकेट चटका लिए थे। बांग्लादेश की टीम इस मुकाबले में मात्र 58 रनों पर ऑल आउट हो गई थी। स्टुअर्ट बिन्नी के साथ दूसरे तेज गेंदबाज मोहित शर्मा भी इस मुकाबले में दूसरे छोर से 4 विकेट चटकाए थे।